MEETING MR. C.K. MAURYA, REGIONAL MANAGER, UPSIDA, AGRA

  • यूपीसीडा द्वारा भूखंड धारकों से मांगे जा रहे 50 से 60 वर्ष पुराने विवरण अव्यावहारिक 
  • यूपीसीडा एवं निवेश मित्र पोर्टल भी है अव्यावहारिक – सुधार की है आवश्यकता। बनाया जाए यूजर फ्रेंडली। 
  • अधिकतम भूखंड पर कारखाना संचालित होने के प्रमाण हेतु आवश्यक  जानकारी अपलोड कराई जाये।   
  • यूपीसीडा का पोर्टल है विकसित की प्रक्रिया में।
  • पोर्टल पर अपलोड करने में आ रही परेशानियों को चैम्बर अवगत कराएगा सरकार को। 
  • भूखंडों की अधिकांश जानकारी है विभाग के पास।  प्रथम विभाग उसे करे अपलोड और शेष सूचना उद्यमी देने तैयार। 
  • विभाग में  फाइल हैं अतः वहीँ उद्यमियों को बुलाकर अपलोड कराई जाए जानकारी।  
दिनांक 22 मई, 2024 को सायं 5 बजे चैम्बर भवन में यूपीसीडा के अधिकारियों के साथ एक बैठक चैम्बर अध्यक्ष अतुल कुमार गुप्ता की अध्यक्षता में आयोजित की गई।
अध्यक्ष अतुल कुमार गुप्ता ने यूपीसीडा के क्षेत्रीय प्रबंधक सी. के. मौर्य एवं अन्य अधिकारियों का स्वागत सम्मान करते हुए अग्रिम कार्यवाही में बताया कि यूपीसीडा के द्वारा विकसित औद्योगिक क्षेत्र काफी पुराने हैं। इन क्षेत्रों में भूखंडों का आवंटन 50-60 वर्ष पूर्व हुआ था। उसके बाद भूखंडों की पट्टे की शर्तों में अधिकांश भूखंडों में भूखंड स्वामी की मृत्यु होने के, साझीदारों के बदलने, उत्पादों का प्रचलन से बाहर होना आदि स्वाभाविक कारणों से बदलाव भी आयें हैं और यह जानकारी उद्यमियों द्वारा पोर्टल पर कई कारणों से अपलोड करना संभव नहीं है। क्योंकि यूपीसीडा व निवेश मित्र पोर्टल में बहुत ही अव्यवहारिक है इसमें सुधार की आवश्यकता है। इसे यूजर फ्रेंडली बनाया जाये। इस पर सूचनाएं अपलोड करने में बहुत परेशानी आती है या सूचनाएं अपलोड ही नहीं हो पाती हैं। हमारी मांग है कि प्लाॅट पर फैक्ट्री के संचालित होने के प्रमाण के लिये आवश्यक सूचनाएं ही मांगी जायें।
औद्योगिक विकास प्रकोष्ठ के चेयरमैन पूर्व अध्यक्ष मुकेश अग्रवाल ने कहा कि उद्यमी वांछनीय सूचनाएं देने के लिए तत्पर हैं किन्तु इसमें विभाग से सहयोग की अपेक्षा है। विभाग का पोर्टल जो अभी तक विकसित होने की प्रक्रिया में है, उसे विकसित होने के बाद ही यह जानकारी अपलोड कराई जाये। निवेश मित्र के पोर्टल पर यह सूचना अपलोड करने के लिए अधिकांश उद्यमी तकनीकी रूप से जानकार नहीं हैं। अधिकांश  सूचनाएं विभाग के पास हैं अतः विभाग में बुलाकर उद्यमियों से विभाग सहयोगात्मक रवैया अपनाते हुए यह जानकारी निवेश मित्र के पोर्टल पर अपलोड कराये।
क्षेत्रीय प्रबंधक सी. के. मौर्य ने बताया कि यह जानकारी हैड क्वार्टर द्वारा अनिवार्य कर दी गई है। अतः इसे पोर्टल पर अपलोड करना आवश्यक है। स्थानीय स्तर पर यूपीसीडा के सभी अधिकारी उद्यमियों को यथासंभव सहयोग प्रदान करने के लिए तत्पर है। आगरा की परिस्थितियों के सम्बन्ध में चैम्बर की मांग के अनुसार राहत प्रदान करने के लिए हैड क्वार्टर को वे अपनी सिफारिश प्रेषित करेंगे।
चैम्बर अध्यक्ष अतुल कुमार गुप्ता ने कहा कि चैम्बर भी पोर्टल की परेशानियों, पुरानी जानकारी की उपलब्धता न होने के सम्बन्ध में सरकार को लिखेगा। उद्यमी जानकारी देने को तैयार हैं किन्तु व्यवहारिक सूचनाएं ही मांगी जायें जिससे यह सिद्ध हो कि प्लाॅट पर फैक्ट्री संचालित है। इस प्रकार की सूचना से सरकार की EASE OF DOING BUSINESS की नीति प्रभावित हो रही है।
बैठक में चैम्बर अध्यक्ष अतुल कुमार गुप्ता, उपाध्यक्ष मनोज कुमार गुप्ता, उपाध्यक्ष अम्बा प्रसाद गर्ग, कोषाध्यक्ष नितेश अग्रवाल, औद्योगिक विकास प्रकोष्ठ चेयरमैन पूर्व अध्यक्ष मुकेश अग्रवाल, पूर्व अध्यक्ष योगेंद्र कुमार सिंघल, अमर मित्तल, शिव कुमार अग्रवाल, अशोक कुमार गोयल, सदस्यों में राजीव अग्रवाल, नरेश अग्रवाल, कपिल गोयल, रवि अग्रवाल, जीके सिंह, योगेश जिंदल, श्री कृष्ण अग्रवाल, अनिल कुमार गर्ग, फरहत अली, शिशिर गुप्ता, अतुल कुमार गर्ग, सुरेश चाँद बंसल, अजय अग्रवाल, सुरेश चाँद जैन, अंकित जैन, अनिल कुमार गुप्ता, भूपेंद्र सिंह सोफ्टी, चंद्र मोहन सचदेवा,  योगेश सिंघल, राकेश सिंघल, अनिल अग्रवाल, योगेश जिंदल, दीपक अग्रवाल, पंकज अग्रवाल, गौरव गुलाटी, एम्. बिलाल, अजय जैन, सुभाष मगन आदि मुख्य रूप से उपस्थित थे।